Suchna ka aadhikar
Material type:
- 9789387774094
- H 342.023 AGR
Item type | Current library | Call number | Status | Date due | Barcode | Item holds |
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Gandhi Smriti Library | H 342.023 AGR (Browse shelf(Opens below)) | Available | 168442 |
सूचना के अधिकार का अर्थ है- लोगों तक सरकारी सूचना की पहुँच | इससे आशय यह है कि नागरिकों तथा गैर-सरकारी संगठनों की सरकारी कार्यों, निर्णयों तथा उनके निष्पादनों से संबंधि त फाइलों तथा दस्तावेजों तक औचित्यपूर्ण स्वतंत्र पहुँच होनी चाहिए दूसरे शब्दों में सरकारी कार्यकलापों में खुलापन और पारदर्शिता हो ।
यह लोक प्रशासन में गोपनीयता के विपरीत है । पारस कुहाद का यह कथन सही है- "कार्यपालिका के विशेषाधिकार के संघटक के रूप में गोपनीयता या सूचना अधिकार के माध्यम से पारदर्शिता-प्रशासन के प्रतिमान रूप में इनमें से किसको अपनाया जाए। दोनों सार्वजनिक हित का तर्क देते हैं। इनमें से कौन है जो वास्तव में जनता का हित करता है और क्या इनमें समन्वय किया जा सकता है ?" १६६२ में विश्व बैंक ने प्रशासन और विकास' नामक दस्तावेज जारी किया था। इसमें प्रशासन के सात पहलुओं या तत्वों का उल्लेख किया गया था। जिनमें से एक पारदर्शिता और 'सूचना भी था । १५ जून २००५ को इसे अधिनियमित किया गया और पूर्णतया १२ अक्टूबर २००५ को सम्पूर्ण धाराओं के साथ लागू कर दिया गया। सूचना का अधिकार अर्थात राईट टू इन्फॉरमेशन । सूचना का अधिकार का तात्पर्य है, सूचना पाने का अधिकार, जो सूचना अधिकार कानून लागू करने वाला राष्ट्र अपने नागरिकों को प्रदान करता है। सूचना अधिकार के द्वारा राष्ट्र अपने नागरिकों को अपनी कार्य और शासन प्रणाली को सार्वजनिक करता है।
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