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Amrita Pritam : chuni Hhi kavitayen

Material type: TextTextSeries: Rastrabharti/ lokodya Grantmala ; 422ISBN:
  • 9788119014248
Subject(s): DDC classification:
  • H 891.431 PRI
Summary: अमृता प्रीतम : चुनी हुई कविताएँ - ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित पंजाबी की प्रसिद्ध कवयित्री श्रीमती अमृता प्रीतम देश के सर्वमान्य कवियों-साहित्यकारों की श्रेणी में प्रतिष्ठित हैं। अमृता जी की कविता की अपनी एक अलग पहचान है, उसकी अपनी शक्ति है, अपना सौन्दर्य है, अपना तेवर है। यह संकलन अमृताजी की श्रेष्ठतम कविताओं का प्रतिनिधित्व करता है। कविताएँ स्वयं उन्होंने चुनी हैं। युग का स्पन्दन, मानव-नियति के अर्थ की खोज, वर्तमान के प्रकाश के झरोखे और अन्धकार की अतल खाई, नारी की अन्तरंग अनुभूतियों के अछूते प्रतिबिम्ब, दर्द के पर्वत में दरारें बनाता करुणा का निर्झर, अस्तित्व के खंडहरों में सर्वहारा नारी की पुकार की गूँज-वारिसशाह के लिए, माता तृप्ता के सपनों में प्रकृति-सुन्दरी की पायल की झंकार पर अवतरित महाप्रभु के साँसों के शान्त स्वर-सब कुछ अद्भुत और मोहक । और, बहुत कुछ ऐसा भी जो बेचैन करता है, उद्वेलक है। सहृदय पाठकों को समर्पित है संकलन का एक और नया संस्करण ।
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अमृता प्रीतम : चुनी हुई कविताएँ - ज्ञानपीठ पुरस्कार से सम्मानित पंजाबी की प्रसिद्ध कवयित्री श्रीमती अमृता प्रीतम देश के सर्वमान्य कवियों-साहित्यकारों की श्रेणी में प्रतिष्ठित हैं। अमृता जी की कविता की अपनी एक अलग पहचान है, उसकी अपनी शक्ति है, अपना सौन्दर्य है, अपना तेवर है। यह संकलन अमृताजी की श्रेष्ठतम कविताओं का प्रतिनिधित्व करता है। कविताएँ स्वयं उन्होंने चुनी हैं। युग का स्पन्दन, मानव-नियति के अर्थ की खोज, वर्तमान के प्रकाश के झरोखे और अन्धकार की अतल खाई, नारी की अन्तरंग अनुभूतियों के अछूते प्रतिबिम्ब, दर्द के पर्वत में दरारें बनाता करुणा का निर्झर, अस्तित्व के खंडहरों में सर्वहारा नारी की पुकार की गूँज-वारिसशाह के लिए, माता तृप्ता के सपनों में प्रकृति-सुन्दरी की पायल की झंकार पर अवतरित महाप्रभु के साँसों के शान्त स्वर-सब कुछ अद्भुत और मोहक । और, बहुत कुछ ऐसा भी जो बेचैन करता है, उद्वेलक है। सहृदय पाठकों को समर्पित है संकलन का एक और नया संस्करण ।

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