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005 20230430171549.0
020 _a9788173156786
082 _aH 370.05
_bPRA
100 _a Prasad, Rajendra
245 _aSahitya, shiksha aur sanskriti
260 _aDelhi
_bPrabhat Prakashan
_c2023.
300 _a202 p.
520 _a साहित्य, शिक्षा और संस्कृति में राजेंद्र बाबू द्वारा समाज के इन तीन प्रमुख अंगों के विषय में प्रकट ओजपूर्ण विचार संकलित हैं। इनके माध्यम से पाठक राजेंद्र बाबू के विराट् व्यक्तित्व के दर्शन कर सकेंगे।.
650 _aPresident of India
650 _aDr. Rajendra Prasad
942 _cB