Devi, Mahasweta

Lalgarh ki maa - New Delhi Vani 2020 - 52p.

लेखिका की यह कहानी एक माँ की करूण गाथा को पाठक के सामने रखती है। जिसमे एक माँ पढे लिखे बेटे के साथ कैसे अपना जीवन जीती है क्या क्या उसके जीवन में बिडंबना आती है जिनसे उससे लड़ना पड़त है।

9789350004876


Novel; Hindi fiction; Gupta, Sushil tr.

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